बिहार में पुलिस ने शनिवार को जनता दल (यूनाइटेड) के विधायक नरेंद्र कुमार पांडेय उर्फ़ सुनील पांडेय को गिरफ़्तार कर लिया.
सुनील पांडेय पिछले एक महीने में गिरफ़्तार होने वाले जद (यू) के दूसरे विधायक हैं, इससे पहले विधायक अनंत कुमार सिंह को पिछले महीने गिरफ़्तार किया गया था.
सुनील भोजपुर ज़िले के तरारी से विधायक हैं. गिरफ़्तारी के बाद उन्हें आरा जेल में रखा गया है.
भोजपुर ज़िले के पुलिस अधीक्षक नवीन चंद्र झा ने विधायक की गिरफ़्तारी की पुष्टि की है.
पुलिस अधीक्षक ने बीबीसी को फोन पर बताया, ‘‘विधायक सुनील को आरा सिविल कोर्ट में हुए विस्फोट के मामले में पूछताछ के लिए बुलाया गया था. पुलिस को अब तक की जांच में जो साक्ष्य मिले हैं उनके आधार पर सुनील की गिरफ्तारी हुई है.’’
विस्फोट में मदद का आरोप
बिहार की राजधानी पटना से लगभग 60 किलोमीटर की दूरी पर आरा सिविल कोर्ट में इस साल 23 जनवरी को बम विस्फोट हुआ था. इसमें एक पुलिसकर्मी सहित दो लोगों की मौत हो गई थी.
विस्फोट के बाद दो क़ैदी फरार हुए थे जिसमें से एक लंबू शर्मा को पिछले महीने दिल्ली से गिरफ़्तार किया गया था.
मीडिया में आई खबरों के मुताबिक लंबू ने गिरफ़्तारी के बाद दिल्ली पुलिस को यह बयान दिया था कि सुनील पांडेय ने इस विस्फोट में उसकी मदद की थी.
जनहित याचिका
मीडिया रिपोर्ट्स पर संज्ञान लेते हुए पटना हाई कोर्ट ने इसे जनहित याचिका में तब्दील कर दिया था.
गौरतलब है कि जनवरी में आरा कोर्ट परिसर में हुए विस्फोट के बाद भी पटना हाइकोर्ट ने इसे गंभीरता से लिया था.
घटना के तुरंत बाद मुख्य न्यायाधीश एल नरसिम्हा रेड्डी ने खुद दौरा कर स्थिति की समीक्षा की थी.
इसके पहले 24 जून को मोकामा से जदयू विधायक अनंत कुमार सिंह को एक अपहरण के मामले में पटना में उनके सरकारी आवास से गिरफ़्तार किया गया था.
No comments:
Post a Comment